Thursday, April 25, 2013

कई बार यूँही देखा है ये जो मन की सीमा रेखा है .... मन तोड़ने लगता है ...... अनजान प्यास के पीछे ....... अनजान आस के पीछे मन दौड़ने लगता है .....

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vox populi

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